UPS एक तरह का बैटरी होता है, जब आप कंप्यूटर यूज कर रहे हैं और आपके घर की बिजली चली जाती हैं, तब इसमें UPS वर्क करते रहता है और आपका कंप्यूटर बंद नहीं होता है।
UPS की फुल फॉर्म Uninterruptible power supply इसका मतलब इसके अंदर कोई कट नहीं होता, इसलिए इसे हम UPS कहते हैं। कंप्यूटर में यूपीएस का उपयोग करते हैं क्योंकि जब मेन सप्लाई कट हो जाते हैं तो उस टाइम हमारा कंप्यूटर ऑफ नहीं होता है, वह UPS के कारण नहीं होता है। इसके यूजर्स है क्या जाता है ताकि हम कंप्यूटर पर जो भी काम कर रहे हैं उसको जल्दी से सेव किया जा सके, और अपने कंप्यूटर को बंद कर दे।
इससे हमारी विंडो या जो डाटा होगा वह सेव हो जाएगा, अगर उसके जगह पर हम यूपीएस यूज़ नहीं किए होते तो डायरेक्ट वह बंद हो जाता, जिससे हमारी विंडो क्रफ्ट हो जाती और उसके बाद दोबारा ओपन भी ना होती, और जो हमारा डाटा होता वह भी डिलीट हो सकता है, इसलिए इसका यूज किया जाता है।
यह एक इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जिसके अंदर इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स के साथ बैटरी भी होती है। जब इलेक्ट्रॉनिक सप्लाई बंद होता है तब कंप्यूटर को बैटरी के मदद से निरंतर इलेक्ट्रिक सप्लाई प्रदान करता है। जिससे कंप्यूटर बंद नहीं होता और अंदर का डाटा और कंप्यूटर पार्ट्स सुरक्षित रहते हैं।

UPS कैसे कार्य करता है? (How ups work):-
UPS के अंदर एसी करंट आने के बाद एसी, AC (alternate current) को DC (direct current) करने के लिए रेक्टिफायर विभाग होता है, जिसका उपयोग बैटरी को चार्जिंग करने के लिए होता है।
बैटरी से निकलने वाली डीसी, DC (direct current) करंट को फिर से AC करने के लिए इनवर्टर विभाग होता है। यह सब कार्य एक स्मार्ट पीसीबी के द्वारा नियंत्रित होता है। उदाहरण के लिए जैसे कि, इलेक्ट्रिक सप्लाई बंद होने के तुरंत बाद इस्मार्ट पीसीबी बैटरी से करंट लेकर, AC (alternate current) करके कंप्यूटर को देता है। यह प्रक्रिया बहुत ही कम सेकंड में होती है।, यह लगभग 6 से लेकर 8 मिली सेकंड में होती है।
जैसे ही आपके कंप्यूटर के अंदर बैटरी बंद होता है या बिजली कट होती है यूपीएस तुरंत ही बैकअप देता है और कंप्यूटर सिस्टम में जो भी डाटा होती है वह डिलीट नहीं होती है।
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यूपीएस जरूरी क्यों होता है?:-
यह जरूरी इसलिए होता है क्योंकि अगर आपके घर में बिजली बार-बार जाती हैं, तो इससे आपका सिस्टम खराब हो सकता है, विंडो क्रश हो सकती है और आपकी फाइल जो काम आप कर रहे थे वह, वह भी खराब हो सकती है। सारे UPS लगभग एक जैसे ही दिखते हैं।
कौन सी कंपनी अच्छी यूपीएस बनाती हैं?:-
माइक्रोटेक, लुमिनस और इंटेक्स इनके अंदर एक बैटरी होती है, जिसे आसानी से यूज कर सकते हैं, अगर आपके घर में बिजली चले जाती हैं तो आपके कंप्यूटर में मिनिमम 5 मिनट चल सकता है, जिससे जो आपकी फाइल है वह सेव हो सकती है ।
यूपीएस सिंगल फेस और 3 फेस दोनों में आता है

Single phase
इसका यूज हम कंप्यूटर सिस्टम पर करते हैं।
Three phase
इसका यूज हम इंडस्ट्री में करते हैं, जैसे कि कोई पावर प्लांट, या स्टील प्लांट है, शुगर मिल, बहुत सारी ऐसी कंपनियां है जहां पर हम 3 फेस का यूज करते हैं, क्योंकि यहां पर जो क्रिटिकल लोड होता है वह ज्यादा होता है, उसको हम कट नहीं कर सकते इसलिए थ्री फेस का यूज करते हैं।
जहां क्रिटिकल लोड बहुत ज्यादा होता है वहां UPS लगाना बहुत जरूरी होता है। जैसे कि कंप्यूटर हमारे घर पर बेसिकली यूपीएस को कंप्यूटर में यूज कर सकते हैं, जो हमारा घर का लोड होता है क्रिटिकल लोड होता है वह कंप्यूटर होता है।
जो इंडस्ट्री में यूज होता है वह, पीएलसी, आदि काफी पैनल अलग से होती है जिसको हमें कंटिन्यू चलाना पड़ता है बिना कट के, अगर कोई भी कट हो गया तो वहां पर बहुत बड़ा नुकसान हो सकता है, इसलिए UPS का यूज किया जाता है और थ्री फेस यूपीएस का यूज़ इसलिए किया जाता है क्योंकि हमारे जो थ्री फेस होते हैं वह अलग-अलग लोड के हिसाब से डिवाइड कर दिया जाता है ताकि 1 फेस के ऊपर लोड ना बढ़े।
इसके अलावा इंडस्ट्री में मोटर भी चलानी पड़ सकते हैं क्योंकि यहां पर क्रिटिकल लोड होता है तो मोटर होता है वह क्रिटिकल होता है, जिनको हम बंद नहीं कर सकते हैं।
यूपीएस और इनवर्टर में क्या अंतर होता है(UPS and inverter different)
यूपीएस का फुल फॉर्म अबाधित विद्युत आपूर्ति, इसका इस्तेमाल ऐसी जगह पर करते हैं जहां पर हमारी कोई चीज जल्दी से बंद ना हो जाए, जबकि इनवर्टर का इस्तेमाल हम घर में टीवी, फ्रिज, आदि में हम इस्तेमाल करते हैं।
यूपीएस का इस्तेमाल हम उस जगह पर करते हैं जहां हम पावर सप्लाई को कट नहीं करना चाहते, इसका इस्तेमाल हो कंप्यूटर, डेस्कटॉप आदि में करते हैं, जबकि इनवर्टर का इस्तेमाल टीवी, फ्री शादी में किया जाता है जहां पर लाइट गोल होने पर भी कोई खराबी नहीं आती है।
यूपीएस का पावर कट डिले टाइम neglligible होता है इसका मतलब नहीं के बराबर, इनवर्टर का मतलब माइक्रोसेकंड होता है यानी ने की 1 सेकंड के अंदर हमारे 1000 माइक्रो सेकंड होते हैं।
UPS में backup time मात्र 10 से 20 मिनट का होता है, जबकि इनवर्टर के अंदर 6 घंटे 8 घंटे जितनी बड़ी बैटरी हम लगा देखने घंटे तक चलता है।
यूपीएस के अंदर छोटी बैटरी लगती है, जबकि इनवर्टर के अंदर जा जा बड़ी बैटरी होती हैं।
UPS कम कीमत 2000 से 6000 में मिल जाता है, जबकि इनवर्टर 40 से 50 हजार की कीमत में मिलता है।

UPS के फायदे:-
1. इसमें पावर कट का डिले टाइम बिल्कुल भी नहीं होता है।
2. बैटरी के अंदर मेंटेनेंस बिल्कुल भी नहीं होता है।
3. यूपीएस कम दामों /कीमत में मिलता है।
4. पावर कट होने की स्थिति में यूपीएस कंप्यूटर सिस्टम को पावर सप्लाई करता है और इलेक्ट्रिकल सिस्टम को पुनः संचालित करता है।
5. यूपीएस सिस्टम में डाटा में रुकावट आने पर भी फाइल्स, डाटा सुरक्षित रहता है।
6. कंप्यूटर सिस्टम में अचानक बिजली बंद हो जाने से सारा डाटा बंद हो जाता है, लेकिन UPS का इस्तेमाल करने पर कंप्यूटर सिस्टम अचानक से बंद नहीं होता और डाटा भी सुरक्षित होता है।
यूपीएस के नुकसान:-
1. यूपीएस की बैटरी छोटी होती है जिसके वजह से जो अधिक समय तक नहीं चल सकती है, तथा आवश्यकता पड़ने पर इसे बदलना भी पड़ सकता है।
2. यूपीएस सिस्टम में UPS के मेट्रिक को ज्यादा समय तक चार्ज करना पड़ता है, नहीं तो अच्छे से बैकअप नहीं दे पाता है।
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यूपीएस क्यों लगाया जाता है?:-
UPS इसलिए लगाया जाता है क्योंकि, जहां पर भी आपको बिना कट के पावर सप्लाई चाहिए, तो वहां पर UPS लगाना बहुत जरूरी होता है। यूपीएस का मतलब ही होता है बिना रुकावट के बिजली सप्लाई करना वह इसलिए यूपीएस में बैटरी बैंक होता है अगर पावर सप्लाई कट होता है तो बैटरी बैंक के माध्यम से यूपीएस पावर सप्लाई करता है।
UPS का फुल फॉर्म:-
UPS का फुल फॉर्म Uninterruptible Power Supply होता है तथा हिंदी में अबाधित पावर सप्लाई होता है।
यूपीएस के कार्य(functions of UPS in Hindi):-
1. यूपीएस कंप्यूटर सिस्टम में किसी भी फाइल को बिजली कट होने पर क्षति होने से बचाता है।
2. UPS सिस्टम को शार्ट सर्किट से भी बचाता है।
3. यूपीएस बिजली कट होने पर डिवाइस को पावर सप्लाई करता है।
4. UPS एक प्रकार से अनियंत्रित सोर्स से पावर का नियंत्रण करता है।
5. यूपीएस कंप्यूटर यूजर्स को सही तरीके से स्विच करने और कंप्यूटर को बैटरी/पावर देने में सक्षम होता है।
6. UPS कंप्यूटर सिस्टम में अकुशल पोजीशन में अलर्ट भी करता है।
UPS के प्रकार(types of UPS)
UPS दो प्रकार के होते है ऑफलाइन और ऑनलाइन !
ऑफलाइन UPS क्या होता है:-
ऑफलाइन यूपीएस में एक स्मार्ट सर्किट बोर्ड होता है, उस बोर्ड पर बहुत सारे इलेक्ट्रॉनिक के अलग-अलग डिवाइस होते हैं। उसमें एक चार्जर विभाग होता है जो बैटरी को चार्ज करने का काम करता है।
जब तक इलेक्ट्रॉनिक्स अप्लाई बंद नहीं होता तब तक एसी करंट कुछ खास इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स द्वारा और शुद्ध करके सही एसी करंट आउटपुट में देता है। इलेक्ट्रॉनिक सप्लाई बंद होने के तुरंत बाद इनवर्टर विभाग द्वारा बैटरी में डायरेक्ट करंट, को अल्टरनेट करंट, मैं बदलने के बाद आउटपुट में देता है। इससे हमारा कंप्यूटर बंद नहीं होता है। ऑफलाइन यूपीएस में बैटरी का उपयोग सिर्फ इलेक्ट्रिक सप्लाई बंद होने के बाद ही होता है।
ऑनलाइन UPS क्या होता है:-
ऑनलाइन UPS में कई स्मार्ट इलेक्ट्रॉनिक सर्किट बोर्ड होते हैं। उस बोर्ड पर अलग-अलग विभाग में एक चार्जर विभाग होता है जो बैटरी को चार्ज करने का कार्य करता है। इलेक्ट्रॉनिक सप्लाई चालू या बंद यह दोनों परिस्थितियों में ऑनलाइन UPS, इनवर्टर विभाग द्वारा बैटरी के द्वारा, डायरेक्ट करंट को अल्टरनेट करंट में बदलने के बाद हमें आउटपुट में देता है।
ऑनलाइन यूपीएस जो अल्टरनेट करंट देता है वह बहुत शुद्ध होता है इसलिए ऑनलाइन UPS महंगे साथ है सामग्री जिन्हें शुद्ध इलेक्ट्रिक सप्लाई की जरूरत होती है वहां पर लगाए जाते हैं।
ऑनलाइन यूपीएस में इलेक्ट्रिक सप्लाई चालू या बंद होने के दोनों स्थितियों में बैटरी से डायरेक्ट करंट को अल्टरनेट करंट में बदलने के बाद आउटपुट मिलता है।